डॉ. सिमी पाकनीकर द्वारा लिखित | शीला फिलोमेना द्वारा समिक्षित लेख on Aug 30 2025 5:00AM
शब्दावली
मधुमेह: एक ऐसी स्थिति जिसमें शरीर ऊर्जा के मुख्य स्रोत, ग्लूकोज (शर्करा) का उचित भंडारण या उपयोग नहीं कर पाता है।
ग्लाइकोसिलेटेड हीमोग्लोबिन परीक्षण:(HbA1c)
यह एक रक्त परीक्षण है, जिसका उपयोग टाइप 1 और टाइप 2 मधुमेहीयों में रक्त शर्करा के स्तर की निगरानी और निदान के लिए किया जाता है।
हीमोग्लोबिन (एचबी):
हीमोग्लोबिन (एचबी) लाल रक्त कोशिकाओं में मौजूद एक प्रोटीन है जो हमारे पूरे शरीर में रक्तप्रवाह के माध्यम से ऑक्सीजन पहुंचाता है।
(A1c): हमारे हीमोग्लोबिन से जुड़ा ग्लूकोज है। लाल रक्त कोशिकाएं लगभग 120 दिनों तक जीवित रहती हैं।
HbA1c परीक्षण पिछले 8 से 12 हफ़्तों का आपका औसत रक्त शर्करा स्तर दर्शाता है। यह एक मानक रक्त शर्करा परीक्षण से अलग है , जो एक ही समय में आपके रक्त शर्करा के स्तर को मापता है।
उपवास प्लाज्मा ग्लूकोज: रात भर के उपवास के बाद लिए गए रक्त के नमूनों से प्राप्त शर्करा के स्तर के लिए किया जाने वाला एक परीक्षण है।
छूट: एक अवधि या अवस्था जिसके दौरान किसी रोग के लक्षण कम हो जाते हैं या कम हो जाते हैं
इंसुलिन प्रतिरोध: इंसुलिन प्रतिरोध वह स्थिति है जब शरीर की कोशिकाएं इंसुलिन का सही इस्तेमाल नहीं कर पातीं। इसकी वजह से खून में मौजूद शुगर (ग्लूकोज) ऊर्जा के लिए कोशिकाओं तक नहीं पहुँच पाती और खून में ही जमा हो जाती है। नतीजा यह होता है कि उच्च रक्त शर्करा (हाई ब्लड शुगर) का स्तर धीरे-धीरे बढ़ने लगता है, जो आगे चलकर डायबिटीज का कारण बन जाता है।