सुश्री वेरवीज ने दिल के दौरे से बचे लोगों पर जीवन शैली में बदलाव करने का एक परीक्षण किया जिसमें ये लोग अपने जीवन-साथी के साथ या उनके बिना, इस कार्यक्रम में शामिल हुये । इन्होनें अपनी आवश्यकताओं और वरीयताओं के आधार पर वजन कम करने, शारीरिक गतिविधि और धूम्रपान बंद करने के कार्यक्रमों में भाग लिया। एक शर्त यह थी कि इनके जीवन साथी निःशुल्क कार्यक्रम में भाग ले सकते हैं लेकिन उनकी भागीदारी सप्ताह में कम से कम एक बार होनी ही चाहिए। इस परीक्षण का निष्कर्ष निम्न हैं: -
- दिल के दौरों के मरीज जब अपने जीवन साथी के साथ मिल कर योजना में काम करते हैं, तो उन में एक वर्ष के भीतर कम से कम इन तीन क्षेत्रों (वजन घटाने, व्यायाम, धूम्रपान समाप्ति) में से एक में सुधार होने की संभावनाये दोगुनी हो जाती हैं। खासकर जब वजन कम करने की बात आती है, तो यह अनुपात 2.71 है।
- जब केवल एक व्यक्ति प्रयास कर रहा होता है, तो जीवन शैली में बदलाव कठीन होता हैं। लेकिन जोड़ों में तुलनीय जीवन शैली होती है, जिसके कारण आहार की आदतों को बदलने में आसानी होती हैं और स्वस्थ होने का एक बेहतर मौका मिलता हैं। व्यावहारिक मुद्दे भी सरल हो जाते हैं, जैसे कि किराने की खरीदारी, खाना बनाना और स्वास्थवर्धक आहार, व्यायाम, मनोवैज्ञानिक चुनौतियाँ इत्यादि। एक सहयोगी साथी जीवन शैली में बदलाव की प्रेरणा को बनाये रख सकता है।
- धूम्रपान बंद करने और शारीरिक गतिविधि के परिणाम अधिक उत्साह वर्धक नहीं थे। ये जीवन शैली के मुद्दे हैं, जो व्यक्तिगत प्रेरणा और दृढ़ता पर निर्भर करते हैं।
जीवन साथी स्वस्थ आदतों को अपनाने में योगदान देते हैं; यह दिल के दौरे की आवर्ती या फिर से होने से बचने के लिए एक महत्वपूर्ण स्वास्थ प्रबंधन का तरीका बन सकते है।
स्रोत- यूरेका अलर्ट